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बिहार चुनाव: एनडीए को पूर्ण बहुमत, आरजेडी सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी

बिहार चुनाव 2020 में एनडीए को पूर्ण बहुमत मिल गया है। इस चुनाव में आरजेडी सबसे बड़ी पार्टी बन कर उभरी है। महागठबंधन अच्छी शुरुआत के बाद भी बहुमत से दूर रह गया।

बिहार विधानसभा चुनाव के नतीजे आ चुके हैं और 243 विधानसभा सीटों वाले इस राज्य में एक बार फिर एनडीए को सरकार बनाने का जनादेश मिला है।

बिहार में सरकार बनाने के लिए 122 सीटों के बहुमत की ज़रूरत है और एनडीए ने 125 सीटें जीतकर यह अहम आंकड़ा पार कर लिया है।

एनडीए को कांटे की टक्कर देने वाला महागठबंधन बहुमत के आंकड़े से थोड़ा पीछा रह गया। महागठबंधन को 110 सीटें हासिल हुई हैं।

जेडीयू को 43 सीटें मिली हैं।

वहीं सांसद असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन ने अच्छा प्रदर्शन करते हुए पांच सीटों पर जीत दर्ज की है। बहुजन समाज पार्टी ने भी एक सीट पर जीत दर्ज की है।

जेडीयू का विरोध करते हुए बिहार विधानसभा चुनाव में अकेले दम पर मैदान में उतरी चिराग़ पासवान की लोक जनशक्ति पार्टी (एलजेपी) को सिर्फ़ एक सीट ही हासिल हुई है।

एक सीट निर्दलीय के हिस्से आयी है।

महागठबंधन की अगुवाई करने वाली पार्टी राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) 75 सीटों के साथ सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी है। भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने भी अपनी सीटों में इजाफ़ा किया है और वो 74 सीटों के साथ दूसरे नंबर पर है।

साल 2015 में आरजेडी ने 80 और बीजेपी ने 53 सीटें जीती थीं।

बीजेपी और अन्य सहयोगी दलों के बेहतर प्रदर्शन के कारण एनडीए को बहुमत मिल गया है लेकिन इन चुनावों में बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की पार्टी जनता दल यूनाइटेड (जेडीयू) का प्रदर्शन बहुत अधिक उत्साहित करने वाला नहीं रहा। साल 2015 में 71 सीटें जीतने वाली जेडीयू को इस बार 43 सीटें ही हासिल हुई हैं।

वहीं साल 2015 के चुनाव में 27 सीटें हासिल करने वाली कांग्रेस को इस चुनाव में सिर्फ़ 19 सीटें ही मिली हैं।

एनडीए में जेडीयू और बीजेपी के अलावा हिन्दुस्तानी अवाम मोर्चा (हम) और विकासशील इंसान पार्टी (वीआईपी) हैं।

महागठबंधन में आरजेडी, कांग्रेस और तीन वामपंथी पार्टियाँ कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ इंडिया (सीपीआई), कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ इंडिया (मार्क्सवादी) यानी सीपीएम और कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ इंडिया मार्क्सवादी लेनिनवादी (लिबरेशन) हैं।

लोक जनशक्ति पार्टी केंद्र में एनडीए का हिस्सा है पर बिहार में इस पार्टी ने अकेले चुनाव लड़ा।

एनडीए ने मुख्यमंत्री के चेहरे के तौर पर मौजूदा सीएम नीतीश कुमार को ही पेश किया तो महागठबंधन की ओर से 31 साल के तेजस्वी यादव मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार थे।

बिहार विधानसभा चुनाव की मतगणना 10 नवंबर 2020 की सुबह आठ बजे शुरू हुई जो देर रात क़रीब दो बजे तक चली।

तीन चरणों में संपन्न हुआ बिहार विधानसभा चुनाव कोविड-19 महामारी के बीच भारत का पहला चुनाव है। चुनाव आयोग के मुताबिक कोविड-19 की वजह से ही मतगणना में ज़्यादा समय लगा। सुबह आठ बजे शुरू हुई वोटों की गिनती रात ढाई बजे तक चली।

चुनाव आयोग के मुताबिक़ इस बार 57.05 फ़ीसदी लोगों ने मतदान किया जो कि 2015 से ज़्यादा है। पांच साल पहले 56.66 फ़ीसदी मतदान हुआ था।

आरजेडी और कांग्रेस ने बिहार विधानसभा चुनावों की मतगणना में गड़बड़ी का आरोप लगाया है और ये दोनों पार्टियां इसे लेकर चुनाव आयोग के पास भी गईं। हालांकि बाद में चुनाव आयोग के सेक्रेटरी जनरल उमेश सिन्हा ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कहा कि चुनाव आयोग किसी भी तरह के दवाब में आकर काम नहीं करता है।

बिहार विधान सभा चुनाव 2020 - दलवार परिणाम की स्थिति
243 निर्वाचन क्षेत्रों में से 243 की ज्ञात स्थिति

ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन - 5  
बहुजन समाज पार्टी - 1
भारतीय जनता पार्टी - 74
कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ इंडिया - 2
कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ इंडिया (मार्क्सवादी) - 2
कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ इंडिया मार्क्सवादी लेनिनवादी (लिबरेशन) - 12
हिन्दुस्तानी अवाम मोर्चा (सेक्युलर) - 4
निर्दलीय - 1
इंडियन नेशनल कांग्रेस - 19
जनता दल यूनाइटेड - 43
लोक जनशक्ति पार्टी - 1
राष्ट्रीय जनता दल - 75
विकासशील इंसान पार्टी - 4

अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव: यह जीत लोगों की है- निर्वाचित राष्ट्रपति जो बाइडन

रिपब्लिकन पार्टी के राष्ट्रपति उम्मीदवार और अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प को चुनाव में हराने के बाद डेमोक्रेटिक पार्टी के उम्मीदवार जो बाइडन ने अपने पहले भाषण में कहा कि यह जीत लोगों की है।

जो बाइडन ने अमेरिका का राष्ट्रपति चुने जाने के बाद अपने पहले भाषण में कहा, ''अमेरिका की जनता ने स्पष्ट जनादेश दिया है। यह जीत आपकी है।  हमें 7.4 करोड़ वोट मिले हैं और इतना वोट आज तक किसी को नहीं मिला।''

बाइडन ने कहा, ''आपने मेरे ऊपर भरोसा जताया है। इसे मैं विनम्रता से स्वीकार करता हूं। मैं अमेरिका का राष्ट्रपति हूं और सबको साथ लेकर चलूंगा। मैं रेड स्टेट और ब्लू स्टेट के रूप में नहीं देखता। अमेरिका का राष्ट्रपति हूं। मैं किसी पार्टी का राष्ट्रपति नहीं हूं। हम सब साथ मिलकर काम करेंगे। मैं इस मुल्क की रीढ़ को फिर से खड़ा करूंगा।''

तोड़ने नहीं, जोड़ने का काम करूंगा: बाइडन

बाइडन ने कहा, ''आप लोगों ने जो भरोसा मुझमें दिखाया है, उसे देख मैं बहुत खुश हूं। मैं ऐसा राष्ट्रपति बनने का वादा करता हूं जो तोड़ने की बजाय जोड़ने का काम करेगा। जो लाल रंग वाले राज्य या नीले रंग वाले राज्य नहीं दिखेगा बल्कि संयुक्त राज्य अमेरिका दिखेगा। मैं दिल से कोशिश करूंगा कि आप सबका भरोसा जीत सकूं।''

बाइडन ने अफ्रीकी-अमरीकी वोटरों का ख़ासतौर से धन्यवाद किया जिनकी वजह से उनके प्रचार को बढ़त मिली जब वो शुरुआती मुक़ाबले में पिछड़ रहे थे।

बाइडन ने कहा कि उनका पहला काम कोरोना वायरस की महामारी को नियंत्रित करना होगा। बाइडन ने कहा, ''सोमवार को मैं एक ग्रुप की घोषणा करूंगा, जिनमें शीर्ष के वैज्ञानिक और विशेषज्ञ हमारे कोविड प्लान को लेकर काम करेंगे। इस प्लान को 21 जनवरी 2020 से लागू किया जाएगा।''

बाइडन ने कहा कि अमेरिका में ऐसा अब तक कभी नहीं हुआ है कि हमने कोशिश की और वो काम नहीं हुआ।

कमला हैरिस अमेरिका की पहली महिला राष्ट्रपति बनी हैं और उनका भाषण प्रमुख रूप से ऐतिहासिक तेवर का था। कमला ने अपने भाषण में कहा कि भले वो अमेरिका की पहली महिला उपराष्ट्रपति हैं लेकिन आख़िरी नहीं हैं। कमला ने कहा कि उनकी जीत से देश भर की महिलाओं के बीच एक संदेश जाएगा कि असंभव कुछ भी नहीं है।

बाइडन ने ट्रंप समर्थकों को भी आश्वस्त किया

बाइडन ने ट्रंप समर्थकों को भी संबोधित किया। उन्होंने कहा, ''एक-दूसरे को एक मौक़ा देकर देखते हैं। अब वक़्त है कि हम कड़वाहट भरी बयानबाज़ी से दूर रहें। एक-दूसरे से दोबारा मिलें, एक-दूसरे को दोबारा सुनें ...  अपने प्रतिद्वंद्वियों को दुश्मन मानना छोड़ें।''

''मैं उन सबके लिए भी उतनी ही मेहनत से काम करूंगा जिन्होंने मुझे वोट नहीं दिया।''

बाइडन ने कहा कि उनका पहला काम कोरोना महामारी पर नियंत्रण करना होगा। बाइडन ने एक आशावादी संदेश के साथ अपने भाषण का अंत किया। आख़िर में उन्होंने कहा, ''भरोसा फैलाइए। आप सभी को प्यार, ब्लैस अमेरिका।'' इसके बाद उनके परिवार वाले स्टेज पर आए।  आतिशाबाज़ी की गई।

आपने उम्मीद को चुना है: कमला हैरिस

कमला हैरिस ने कहा, ''आपने उम्मीद, मर्यादा, विज्ञान और सच को चुना है। आपने जो बाइडन को अगला राष्ट्रपति चुना है।''

कमला ने जो बाइडन को बधाई दी। कमला ने कहा कि लोकतंत्र स्टेट नहीं, एक्ट होता है। कमला हैरिस ने भाषण देते हुए अपने परिवार और भारतीय माँ को याद किया।

कमला ने अपनी माँ को याद किया। उन्होंने ब्लैक, एशियाई, व्हाइट और  लातिनी महिलाओं को भी याद याद किया।

कमला हैरिस ने कहा, ''वे सब हमारे लोकतंत्र की रीढ़ की हड्डी हैं। वो औरतें जिन्होंने सौ साल पहले 19वें संशोधन के लिए लड़ाई की, 55 साल पहले वोटिंग के अधिकार के लिए संघर्ष किया और आज 2020 की युवा पीढ़ी जो वोट कर रही है।''

''मैं इस पद पर पहुंचने वाली पहली महिला हो सकती हूं लेकिन मैं आख़िरी नहीं हूं।''

राष्ट्रपति चुनाव: जो बिडेन अमेरिका के 46 वें राष्ट्रपति चुने गए

डेमोक्रेटिक पार्टी के राष्ट्रपति के उम्मीदवार जो बिडेन अमेरिका के 46 वें राष्ट्रपति चुने गए है। जो बिडेन पेंसिल्वेनिया से चुनाव जीत चुके हैं। डेमोक्रेटिक पार्टी के राष्ट्रपति के उम्मीदवार जो बिडेन को 290 एलेक्ट्रोरल कॉलेज के वोट मिले, जबकि अमेरिकी राष्ट्रपति और रिपब्लिकन पार्टी के राष्ट्रपति के उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रम्प को 214 एलेक्ट्रोरल कॉलेज के वोट मिले।

अमेरिकी राष्ट्रपति और रिपब्लिकन पार्टी के राष्ट्रपति के उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रम्प राष्ट्रपति चुनाव हार चुके हैं। डेमोक्रेटिक पार्टी के राष्ट्रपति के उम्मीदवार जो बिडेन अमेरिका के 46 वें राष्ट्रपति चुने गए।

डेमोक्रेटिक पार्टी के उम्मीदवार जो बाइडन अमरीका के अगले राष्ट्रपति होंगे। 3 नवंबर 2020 को हुए मतदान में उन्होंने रिपब्लिकन पार्टी के उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप को हरा दिया है

अहम माने जा रहे पेंसिल्वेनिया राज्य में जो बाइडन ने बड़ी जीत हासिल कर ली है जिसके बाद व्हाइट हाउस तक पहुंचने के लिए ज़रूरी 270 इलेक्टोरल कॉलेज वोट के आंकड़े को वो पार कर गए हैं।

इस चुनाव में साल 1900 के बाद सबसे अधिक वोट पड़े हैं। बाइडन अभी तक 7 करोड़ से अधिक वोट प्राप्त कर चुके हैं। किसी भी राष्ट्रपति को इससे पहले इतने वोट नहीं मिले।